ये होती है असली सोने की पहचान, हॉलमार्किंग चेक करना सीख गए तो नकली सोना तुरंत पकड़ लेंगे आप!

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नई दिल्ली। जब भी आप सोना खरीदते हैं तो आपको उसकी हॉलमार्किंग जरूर चेक करनी चाहिए। यह असली सोने की पहचान के लिए भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) का एक क्वालिटी सर्टिफिकेट है। यह सर्टिफिकेट आपको इस बात की गारंटी देता है कि आप जो सोना खरीद रहे हैं वह पूरी तरह शुद्ध है। बता दें कि भारत में जून 2021 से सोने की ज्वेलरी आदि पर हॉलमार्किंग अनिवार्य कर दी गई है। कई बार ज्वेलर आपको बिना हॉलमार्किंग वाला सोना बेच देते हैं जिसके असली होने की कोई गारंटी नहीं होती है। इसलिए आपको सोने की असली हॉलमार्किंग की पहचान करना आना चाहिए। जिससे आप असली और नकली सोने में आसानी से अंतर कर सकें। यहां हम आपको हॉलमार्किंग चेक करने का तरीका बता रहे हैं।

ये होती है असली सोने की पहचान
जब भी आप सोना या उससे बनी ज्वेलरी खरीदते हैं तो आपको उस पर बीआईएस चिह्न जरूर चेक करना चाहिए। इसे एक त्रिकोण की तरह दर्शाया जाता है। वहीं बिल पर हॉलमार्किंग की कॉस्ट को चेक करने के लिए आपको बिल ब्रेकअप के लिए रिक्वेस्ट करनी चाहिए। आपको बिल में लागत और हॉलमार्किंग सेन्टर द्वारा निर्धारित मूल्य को चेक कर लेना चाहिए। साथ ही आपको कैरेट भी चेक करना जरूरी है। आप जो सोना खरीदते हैं उसे कम से कम 22 कैरट होना चाहिए। इसके अलावा आप जोहरी के लाइसेंस पर लिस्टेड स्टोर के पते को भी चेक कर सकते हैं।

ऐसे चेक करें हॉलमार्किंग
हॉलमार्किंग के जरिए आप असली या नकली सोने की तुरंत पहचान कर सकते हैं। यह चेक करने के लिए आपको उसका हॉलमार्क देखना होता है। अगर सोने का हॉलमार्क 375 है तो यह 37.5 फीसदी शुद्ध सोना है। वहीं अगर हॉलमार्क 585 है तो यह सोना 58.5 फीसदी शुद्ध है। इसी तरह 750 हॉलमार्क होने पर यह सोना 75.0 फीसदी शुद्ध होता है और 916 हॉलमार्क होने पर सोना 91.6 फीसदी शुद्ध होने की गारंटी है। वहीं 990 हॉलमार्क होने पर सोना 99.0 फीसदी और 999 होने पर सोना 99.9 फीसदी शुद्ध होता है।

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