महंगाई को काबू में रखने के लिए आठवीं बार भी ब्याज दरों में बदलाव नहीं करेगा आरबीआई
नई दिल्ली। महंगाई को काबू रखने के लिए आरबीआई अगले सप्ताह होने वाली द्वैमासिक मौद्रिक समीक्षा में लगातार आठवीं बार नीतिगत दरों को यथावत रख सकता है। केंद्रीय बैंक ने आखिरी बार मई, 2020 में रेपो दर को 0.40 फीसदी घटाकर चार फीसदी किया था। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास की अगुवाई में छह सदस्यीय मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की तीन दिवसीय बैठक 6 अक्तूबर से शुरू होगी। नतीजों की घोषणा 8 अक्तूबर, 2021 को होगी।
विशेषज्ञों का दावा- केंद्रीय बैंक पर महंगाई को काबू में रखने का दबाव
मॉर्गन स्टेनली का कहना है कि आरबीआई आगामी बैठक में ब्याज दरों को यथावत रखने के साथ अपने नरम रुख को भी जारी रखेगा। चालू वित्त वर्ष में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक आधारित महंगाई 5 फीसदी के आसपास रहेगी। एसबीआई चेयरमैन दिनेश खारा ने हाल ही में ब्याज दरों के यथावत रहने का अनुमान जताया था।
उन्होंने कहा था कि वृद्धि में कुछ सुधार है। ऐसे में मुझे लगता है कि ब्याज दरें नहीं बढ़ेंगी। डेलॉय इंडिया की अर्थशास्त्री रुमकी मजूमदार ने कहा कि आरबीआई पर अपने रुख में बदलाव का दबाव है क्योंकि कुछ औद्योगिक देशों में मौद्रिक नीति की वजह से महंगाई बढ़ रही है। जिंसों के दाम में इजाफा हो रहा है। ऐसे में केंद्रीय बैंक नीतिगत दरों को यथावत रख सकता है।