जेसीआई दुर्ग भिलाई ने महिला सफाई कर्मियों का सम्मान कर महिला दिवस मनाया

जेसीआई दुर्ग भिलाई ने महिला सफाई कर्मियों का सम्मान कर
कर्मयोगिनी नाम से महिला दिवस मनाया।
दुर्ग-भिलाई :- जेसीआई दुर्ग-भिलाई की महिला विंग की अध्यक्षा जेसीरेट मंजू रजनीश जायसवाल ने बताया कि इस वर्ष 8 मार्च को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन नगर की सभी महिला सफाईकर्मियों के सम्मान से किया गया। इस कार्यक्रम में मेंटर के रूप में जेसीरेट नीति अनिल बल्लेवार, प्रभारियों के रूप में जेसीरेट संगीता बिमल राजगढ़िया, जेसीरेट अंजलि विक्रम लखोटिया तथा जेसीरेट मोना विकास देवांगन ने मुख्य भूमिका निभाई।
कार्यक्रम का संचालन जेसीरेट डॉ मोना टुवानी देवांगन द्वारा किया गया जहाँ मुख्य अतिथि के रूप में उतई थाना से टीआई आदरणीय नवी मोनिका पांडेय जी थी तथा विशिष्ट अतिथि के रूप में श्रीमती किरण साहू जी मौजूद थी। कार्यक्रम का आयोजन वाई शेप ब्रिज के नीचे सफाई कर्मियों के कार्यस्थल पर किया गया। कार्यक्रम का ड्रेसकोड ब्लू परिधान रखा गया।
लगभग 2 घंटे चले इस आयोजन की शुरुआत जेसीरेट रेखा गोलछा द्वारा जेसी आस्था के पठन से हुआ, तत्पश्चात जेसीरेट राखी माहेश्वरी, जेसीरेट अपेक्षा केडिया, जेसीरेट श्वेता ताम्रकार तथा जेसीरेट अंजू गजवानी द्वारा कचरे वाली नामक बेहद मनोरंजक नाटक भी प्रस्तुत किया गया,इसके लिए जेसी रेट अध्यक्षा ने बताया कि इस नाटक से हम उन्हें उनकी अहमियत का एहसास दिलाना चाहते हैं कि कोई भी काम छोटा या बड़ा नहीं होता। जिसमें सफाई कर्मियों को समाज द्वारा भरपूर सहयोग करने का संदेश दिया गया। पूरे कार्यक्रम के दौरान यह नाटक और उनको खिलाए जाने वाले खेल से सभी सफाई महिला कर्मचारी काफी प्रभावित और आनंदित रहीं।
मुख्य अतिथि नवी मोनिका पांडेय जी ने सभी सफाई कर्मियों के साथ-साथ वहाँ उपस्थित जेसीरेट सदस्यों को भी अपने -अपने कार्यो को पूरी निष्ठा व ईमानदारी से करने के लिए प्रेरित किया ताकि एक अच्छे समाज व देश का निर्माण हो सके। उन्होंने बारी बारी से सभी की समस्याओं को भी सुना व उनका समाधान भी किया।
सभी सफाई कर्मियों के सम्मान हेतु मोहनलाल मोटर्स, उतई से जेसी विशाल कटारिया जी की तरफ से वॉलेट, जेसी राकेश गोलछा जी की ओर से साड़ियां, जेसीरेट अंजलि लाखोटिया जी की ओर से पानी बोतल तथा संस्था की ओर से श्रीफल व फ़ूड पैकेट का प्रबंध किया गया था। जेसीरेट नीति बल्लेवार की तरफ से अपने पिता की स्मृति में सभी को स्कार्फ भेंट दी गई।
हमारे रिपोर्टर से अपने विचार सांँझा करते हुए जेसीरेट नीति अनिल बल्लेवार ने बताया कि एक स्त्री का सम्मान करना उसे खूबसूरत कहने से भी अधिक ख़ूबसूरत एहसास होता है। जेसीरेट संगीता बिमल राजगढ़िया ने बताया कि हम आधी दुनिया नहीं है अपितु हम पूरी दुनिया है जिसने आधी दुनिया को जन्म दिया है। जेसीरेट अंजलि विक्रम लखोटिया ने बताया कि एक नारी अपना वजूद भूला कर न जाने कितने किरदार निभाती है नमन है, उसकी शख्सियत को नारी ही है जो मकान को घर बनाती है।
कार्यक्रम के दौरान एक सफाई कर्मी किसी जेसीरेट से पूछती है कि आपकी जाति क्या है? बदले में जवाब मिलता है कि जब एक माँ अपने बच्चे का लालन पालन करती है,अपने बच्चे की गंदगी साफ करती है, तो वो शूद्र हो जाती है। जब वो ही बच्चा जब बड़ा होता है तो माँ नकारात्मक ताकतों से उसकी रक्षा करती है, तो वो क्षत्रिय हो जाती है। जब बच्चा और बड़ा होता है, तो माँ उसे शिक्षित करती है, तब वो ब्राह्मण हो जाती है। और अंत में, जब बच्चा और बड़ा होता है तो माँ उसके आय और व्यय में उसका उचित मार्गदर्शन कर अपना वैश्य धर्म निभाती है। तो अब बताओ कि हुई ना एक महिला या मां जाति विहीन। यह सुन के उस महिला सफाईकर्मी की आँखों में महिलाओं या माताओं के लिए सम्मान व आदर का भाव था, और माँ और महिला होने पर उसे गर्व का अनुभव हो रहा था।
जेसीआई दुर्ग-भिलाई की महिला विंग ने पूरे हफ्ते जेसीरेटस के लिए रोज वुमन एंपावर से संबंधित कांटेस्ट भी कराया, जिसके जरिये पूरा हफ्ता अपनी जेसीरेट साथियो का मनोरंजन होता रहा। कांटेस्ट के विनर रहे जेसीरेट ममता परमार, जेसीरेट आकांशा लुनिया, जेसीरेट मोनिका खेतान, जेसीरेट मनीषा जैन एवं जेसीरेट प्रतीक्षा गोलछा।
इस कार्यक्रम में जेसीरेट निधि जैन, जेसीरेट प्रतीक्षा गोलछा, जेसीरेट ममता परमार, जेसीरेट मोनिका खेतान, जेसीरेट प्रियंका चांडक, जेसीरेट मनीषा छाजेड़, जेसीरेट अश्मित बेदी, जेसीरेट निशा ताम्रकार, जेसीरेट अनुभा सिंघई, जेसीरेट सीमा नाहर, जेसीरेट स्वाति जायसवाल, आदि उपस्थित थीं।