पुलिस आरक्षक भर्ती घोटाला: सीबीआई ने परीक्षार्थी और उसकी जगह परीक्षा देने वाले को 7-7 साल की सजा सुनाई

भोपाल मध्यप्रदेश व्यापमं के पुलिस आरक्षक भर्ती 2013 की गड़बड़ी मामले में कोर्ट ने शुक्रवार को दो आरोपियों को सजा सुनाई है। इसमें एक परीक्षार्थी और दूसरा उसकी जगह परीक्षा में बैठने वाला मुन्ना भाई है। दोनों को कोर्ट ने 7-7 साल की कठोर सजा और अर्थ दंड से दंडित किया है।

सीबीआई के  लोक अभियोजक मनुजी उपाध्याय ने बताया कि व्यापमं ने वर्ष 2013 में मध्य प्रदेश पुलिस आरक्षक भर्ती परीक्षा द्वितीय आयोजित की थी। जिसमें परीक्षार्थी सत्यनारायण यादव पिता रामाशंकर यादव ने अपने स्थान पर परीक्षा दिलाने के लिए प्रतिरूपक लक्ष्मी नारायण यादव पिता राम नरेश यादव को परीक्षा में बिठाया और परिणाम स्वरूप परीक्षार्थी सत्यनारायण परीक्षा में पास हुआ। 

दोनों आरोपी ने कूट रचित दस्तावेजों बनाए और आपराधिक षड्यंत्र के साथ उपयोग किया। दोनों भारतीय दंड विधान की धारा 419, 420, 467, 471, 468 सहित धारा 120 बी भादवि के तहत दोषी पाए गए। विशेष न्यायाधीश नीति राज सिंह सिसोदिया ने दोनों को सात-सात वर्ष के कठोर कारावास और अर्थ दंड से दंडित किया है।

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