जेलों में भीड़ कम करने की कवायद, एक हज़ार से ज्यादा कैदियों को मिली जमानत

बिलासपुर| छत्तीसगढ़ के विभिन्न जेलों में निरूद्ध पात्र अभिरक्षाधीन बंदियों को रिहा करने के लिए जिला विधिक सेवा प्राधिकरणों में गठित अंडर ट्रायल रिव्यू कमेटी ने एक विशेष अभियान चलाया है। इस कार्रवाई के तहत, बैठकों में सतत चर्चा करते हुए बंदियों को जमानत देने का निर्णय लिया गया है। यह अभियान छत्तीसगढ़ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यपालक अध्यक्ष न्यायमूर्ति गौतम भादुड़ी के मार्गदर्शन और सतत निगरानी में किया गया है।

उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर नालसा के निर्देश पर, 18 सितम्बर से 20 नवम्बर तक, इस विशेष अभियान के दौरान 114 बैठकें आयोजित की गई हैं, जिसमें कमेटी ने 1389 बंदियों को चिन्हांकित किया और 1222 को जमानत पर रिहा करने की सिफारिश की है। इसमें समस्त जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सदस्यों का सहयोग था, जिनमें जिला न्यायाधीश, कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक, जेलर और सचिव शामिल थे।

छत्तीसगढ़ में न्यायिक प्रक्रिया के माध्यम से, उच्चतम न्यायालय के निर्देशानुसार, जेलों में बंदियों की बढ़ती भीड़ को देखते हुए इस अभियान का आयोजन किया गया है, जिसका उद्देश्य बंदियों को जमानत पर रिहा करना था। इस प्रक्रिया के दौरान 1086 बंदियों को जमानत प्रदान की गई है और उन्हें रिहा किया गया है।